लखनऊ, 19 मार्च। लिट्टी चोखा एक प्रकार का व्यंजन है जिसे लिट्टी तथा चोखे – दो अलग-अलग व्यंजनों के साथ-साथ खाने को कहते हैं। यह बिहार, झारखंड और उत्तरप्रदेश के विशेष व्यंजनों में से एक है।
लिट्टी देखने में तो बाटी जैसी लगती है, लेकिन थोड़ा-सा अंतर है। इसके अन्दर भरी जाने वाली पिठ्ठी सत्तू से बनाई जाती है और यह लिट्टी बैंगन के चोखा (भुर्ता) या आलू के चोखा के साथ खाई जाती है।
लिट्टी चोखा बिहार राज्य का राष्ट्रीय व्यंजन है जिसमें लिट्टी तथा चोखे – दो अलग-अलग व्यंजनों के साथ-साथ खाने को कहते हैं। यह बिहार, झारखंड और उत्तरप्रदेश के विशेषकर ज्यादा लोकप्रिय है। हालांकि देश के कई कोने से इसे बड़े प्यार और स्वाद के साथ खाया जाता है।
लिट्टी देखने में तो बाटी जैसी लगती है, लेकिन बहुत अंतर है। इसे आटे के अन्दर सत्तू भरकर बनाई जाती है और यह बैंगन, आलू और टमाटर को मिक्स कर चोखा तैयार कर किया जाता है और लिट्टी के साथ बड़े प्यार से खाई जाती है।
लिट्टी बनाने की सामग्री :
2 कप आटा, 1/2 चम्मच तेल, 1/2 चम्मच अजवाइन, 2 बड़े चम्मच घी।
लिट्टी की विधि :
आटे को छान कर बर्तन में निकालिए, आटे में घी और हल्की नमक डाल कर अच्छी तरह मिला लीजिए। गुनगुने पानी की सहायता से नरम आटा गूंथ लीजिए। गूंथे हुए आटे को ढंककर (आधा घंटे के लिए) रख दीजिए। लिट्टी बनाने के लिए आटा तैयार है।
1 कप भूने चने (बिना छिलके वाले) या सत्तू, 4-5 लहसुन (कद्दूकस करे हुए), 1 टुकड़ा अदरक (कद्दूकस करा हुआ), 1 प्याज बारीक कटा (जरूरी नहीं), 2-3 हरी मिर्च (बारीक कटी हुई), 1/2 कप हरा धनिया (बारीक कटा हुआ), 1 चम्मच अजवाइन, 1 बड़ा चम्मच नींबू का रस, 1 चम्मच तेल और 2 भरे हुए लाल मिर्च के अचार का मसाला, नमक स्वादानुसार।
लिट्टी में भरी जाने वाली सत्तू तैयार कीजिए :
अदरक को धोकर छिलकर बारीक टुकड़ों में काट लीजिए या फिर कद्दूकस भी कर सकते हैं। हरी मिर्च और हरा धनिया बारीक काट लीजिए। सत्तू को किसी बर्तन में निकालिए।
उसमें अदरक, हरी मिर्च, धनिया, नींबू का रस, नमक, काला नमक, जीरा, सरसों का तेल और अचार का मसाला मिला लीजिए, अगर सत्तू पूरी तरह से मिक्स हो जाएगी इसके बाद 1-2 छोटे चम्मच तेल और पानी डालिए और उसे मिक्स ऐसे किजिए की वो पूरी तरह से भूरभूरा हो जाए। अब सत्तू तैयार है।
लिट्टी कैसे बनाएं :
गूंथे हुए आटे से मध्यम आकार की लोइयां बना लीजिए। लोई को अंगुलियों की सहायता से 2-3 इंच के व्यास में बड़ा कर लीजिए, अब कटोरी जैसा बना लीजिए, इस पर एक से डेढ़ छोटी चम्मच सत्तू रखिए और आटे को चारों ओर से उठा कर बंद करके गोल कर लीजिए। गोले को हथेली से दबा कर थोड़ा चपटा कीजिए, लिट्टी सिकने के लिए तैयार है।
अब लकड़ी तथा कोयले को जला कर उसे पूरी तरह से आग बना लें और उसे जमीन या किसी बड़े आग के बर्तन में रखकर उस पर भरी हुई लोइयों को रखिए और पलट-पलट कर ब्राउन होने तक सेंक लें। पारंपारिक रूप से लिट्टी आग (गोयठें की) पर सेंकी जाती है।
चोखा कैसे बनाएं :
बैंगन, आलू और टमाटर धोइए और भून लीजिए। ठंडा होने पर छिलका उतार लें। अब किसी प्याले में रख कर चम्मच से मैश कीजिए। कतरे हुए प्याज, मिर्च, धनिया पत्ता, नींबू, अचार, नमक और तेल डाल कर अच्छी तरह मिलाइए।
लीजिए बिहार का मशहूर चोखा तैयार है। अगर आप लहसुन और अदरक पसंद करते हैं तो 5-6 लहसुन की कली और एक अदरक की छोटी टुकड़ी को बारीक काटकर चोखे में मिला लीजिए।
एक प्याले में चोखा डालिए। गरमा-गरम लिट्टी बीच में से तोड़कर घी में डुबाइए। अब बैंगन और आलू के चोखा को हरी धनिए की चटनी के साथ पेश करें।