नई दिल्ली। केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा है कि पोषण और राष्ट्र विकास में गहरा संबंध है और सरकार जमीनी स्तर पर स्वास्थ्य के सभी मानकों पर काम कर रही है। मांडविया ने मंगलवार को यहां एक कार्यक्रम में ‘आहार’ प्रतीक चिह्न जारी करते हुए कहा कि सरकार देश के प्रत्येक नागरिक के लिए स्वास्थ्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए समर्पित है और इसके लिए यह प्राथमिक, माध्यमिक और तृतीयक स्वास्थ्य देखभाल मोर्चों पर ध्यान केंद्रित कर रही है।
स्वास्थ्य और कल्याण केंद्र और राष्ट्रीय स्वास्थ्य योजना के तहत जिला अस्पतालों को मजबूत किया जा रहा है। उन्होंने विश्व खाद्य सुरक्षा दिवस के अवसर पर चौथा राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक जारी किया और , शहरों और जिलों के लिए ‘‘ईट राइट चैलेंज” के विजेताओं को सम्मानित किया। भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण ने चौथा राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक जारी किया है।
मांडविया ने कहा, राष्ट्र और पोषण का गहरा संबंध है और एक समृद्ध भारत के लिए , हमें एक स्वस्थ भारत की आवश्यकता है तथा एक स्वस्थ भारत के लिए , हमें स्वस्थ नागरिक की आवश्यकता है। उन्होने कहा कि सरकार देश के प्रत्येक नागरिक के लिए स्वास्थ्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए समर्पित है। इसके लिए प्राथमिक, माध्यमिक और तृतीयक स्वास्थ्य देखभाल मोर्चों पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि खाद्य सुरक्षा और स्वस्थ खाद्य प्रणाली को सुनिश्चित करने में राज्यों की महत्वपूर्ण भूमिका है।
यह समय की आवश्यकता है कि एक स्वस्थ राष्ट्र सुनिश्चित करने के लिए एक साथ आएं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने वर्ष 2021-22 की रैंकिंग के आधार पर सभी मापदंडों पर प्रभावशाली प्रदर्शन के लिए विजेता राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सम्मानित किया। इस वर्ष, बड़े राज्यों में, तमिलनाडु शीर्ष रैंकिंग वाला राज्य है। इसके बाद गुजरात और महाराष्ट्र हैं। छोटे राज्यों में, गोवा पहले स्थान पर रहा, इसके बाद मणिपुर और सिक्किम का स्थान रहा। केंद्र शासित प्रदेशों में, जम्मू – कश्मीर, दिल्ली और चंडीगढ़ ने पहला, दूसरा और तीसरा स्थान हासिल किया। उन्होंने उन राज्यों को भी सम्मानित किया जिन्होंने राज्य खाद्य सुरक्षा सूचकांक में उल्लेखनीय सुधार दिखाया।