अशाेक यादव, लखनऊ। उत्तर प्रदेश के कानपुर में थाना चौबेपुर के अंतर्गत हुए बिकरू कांड को लगभग 6 महीने पूरे हो चुके हैं लेकिन पुलिस एनकाउंटर में मारे गए अपराधी विकास दुबे से जुड़े लोगों की समस्याएं कम होने का नाम नहीं ले रही हैं।
अभी कुछ दिन पहले ही विकास दुबे से संबंधों के चलते एक सरकारी कर्मचारी निलंबित हुआ था तो आज मंगलवार को भी अपराधी विकास दुबे से घनिष्ठ संबंधों की पुष्टि होने के बाद चौबेपुर के खंड विकास अधिकारी को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
एसआईटी की जांच में भी चौबेपुर के खंड विकास अधिकारी आलोक पांडे का नाम आया था। एसआईटी ने अपनी जांच रिपोर्ट में स्पष्ट किया था कि चौबेपुर के खंड विकास अधिकारी लगातार अपराधी विकास दुबे के संपर्क में थे और उसके कहने पर ही कार्य करते थे। विकास दुबे का इतना जबरदस्त प्रभाव था कि उससे कहने पर ही बिकरू और आस पास के क्षेत्र में मनरेगा व अन्य योजनाएं के तहत काम होता था।
खंड विकास अधिकारी आलोक पांडे पर लगे आरोप बेहद गंभीर थे जिसके चलते सरकार के निर्देश पर आलोक पांडे को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। निलंबन की पुष्टि करते हुए सीडीओ महेंद्र कुमार ने कहा कि सरकार के दिशा निर्देश पर चौबेपुर के खंड विकास अधिकारी आलोक पांडे को आज निलंबित कर दिया गया है।