अपनी बल्लेबाजी से कई रिकार्ड तोड़ने वाले विराट कोहली के नाम पर आठ से अधिक अंतरराष्ट्रीय विकेट दर्ज होते अगर उनकी टीम के साथी उनकी मध्यम गति की गेंदों पर उतना भरोसा करते जितना वह स्वयं करते हैं। कोहली ने मजाकिया लहजे में बताया कि आखिर क्यों उन्होंने दिसंबर 2017 के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में गेंदबाजी नहीं की। विश्व कप के मेजबान प्रसारणकर्ता को दिए साक्षात्कार में भारतीय कप्तान ने कहा, ‘‘श्रीलंका (2017 में) में एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय श्रृंखला के दौरान हम लगभग सारे मैच जीत रहे थे, मैंने महेंद्र सिंह धोनी से पूछा कि क्या मैं गेंदबाजी कर सकता हूं। जैसे ही मैं गेंदबाजी के लिए तैयार हुआ बुमराह (जसप्रीत) बाउंड्री से चिल्लाया और कहा ‘कोई मजाक नहीं, यह अंतरराष्ट्रीय मैच है’।’’ उन्होंने कहा, ‘‘टीम में किसी को भी मेरी गेंदबाजी पर उतना भरोसा नहीं है जितना मुझे है। इसके बाद मेरी पीठ में तकलीफ हो गई और इसके बाद मैंने कभी गेंदबाजी नहीं की।’’ कोहली अब भी नेट पर गेंदबाजी करते हैं और इस हफ्ते यहां अभ्यास सत्र के दौरान भी उन्होंने गेंदबाजी की। कोहली ने एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में चार जबकि टी20 अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में भी इतने ही विकेट चटकाए हैं। उन्होंने टेस्ट क्रिकेट में 163 गेंद फेंकी लेकिन उन्हें कोई सफलता नहीं मिली। इस स्टार बल्लेबाज ने एक ऐसी घटना का जिक्र किया जिससे पता चलता है कि उन्होंने हमेशा अपनी गेंदबाजी को गंभीरता से लिया। कोहली ने कहा, ‘‘जब मैं अकादमी (दिल्ली में) में था तो मैं जेम्स एंडरसन के एक्शन से गेंदबाजी करने का प्रयास करता था। बाद में जब मुझे उसके साथ खेलने का मौका मिला तो मैंने उसे यह बात बताई। हम दोनों इस पर काफी हंसे।’’
विराट कोहली: टीम में किसी को भी मेरी गेंदबाजी पर उतना भरोसा नहीं है जितना मुझे है
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