कोलकाता: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा यह खुलासा करने के बाद कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी उन्हें हर साल कुर्ते और मिठाईयां भेजा करती हैं, बनर्जी ने बुधवार को कहा कि उन्होंने कई अवसरों पर लोगों को उपहार और मिठाईयां भेजी होंगी, लेकिन वह उन्हें वोट नहीं देंगी. ममता ने प्रधानमंत्री मोदी का नाम लिए बिना हुगली जिले में एक चुनावी सभा में कहा, ‘मैं लोगों को रसोगुल्ला भेजती हूं. मैं पूजा के दौरान उन्हें उपहार भी भेजती हूं और चाय पिलाती हूं, लेकिन मैं उन्हें एक भी वोट नहीं दूंगी.’ अभिनेता अक्षय कुमार के साथ बातचीत के दौरान मोदी ने खुलासा किया था कि उनकी कट्टर आलोचकों में से एक बनर्जी खुद से उनके लिए कुर्ता चुनती हैं और प्रत्येक वर्ष उन्हें उपहार देती हैं.
अभिनेता अक्षय कुमार के साथ बातचीत में मोदी ने कहा कि इस खुलासे से शायद लोकसभा चुनाव में उन्हें नुकसान पहुंचे. मोदी ने कहा कि बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना हर साल ढाका से उन्हें विशेष मिठाई भेजती थीं. जब ममता को इसके बारे में पता चला, तो उन्होंने भी ‘मुझे हर साल एक-दो मौकों पर बंगाली मिठाई भेजनी शुरू कर दी.’ प्रधानमंत्री ने कहा कि राजनीतिक विरोधियों जैसे वरिष्ठ कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद के साथ उनके अच्छे संबंध हैं. अक्षय के इस सवाल पर कि क्या उन्होंने दिल्ली जाने से पहले गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान वेतन के तौर पर मिली पूरी राशि दान कर दी थी? मोदी ने कहा, “यह पूरा सच नहीं है. मैं ऐसा करना चाहता था, लेकिन मेरे अंदर काम करने वाले कुछ अधिकारियों की सलाह पर मैंने केवल 21 लाख रुपये का दान दिया.
मैंने अधिकारियों को सचिवालय में जूनियर कर्मचारियों के बच्चों की शिक्षा पर खर्च करने के लिए कहा.” यह पूछे जाने पर कि क्या उन्होंने कभी गुस्सा महसूस किया है? मोदी ने कहा, “अगर मैंने कहा कि मुझे गुस्सा नहीं आता, तो लोगों को हैरानी होगी.” उन्होंने कहा, “गुस्सा हर इंसान के जीवन का एक हिस्सा है. जब मैं लगभग 18-20 साल का था, तो मुझे बताया गया कि बुरी आदतें व्यक्तिगत विकास में बाधा हैं. मेरा गुस्सा एक ऐसी ही बुरी आदत थी. मैं लंबे समय तक मुख्यमंत्री रहा. अब मैं प्रधानमंत्री हूं, लेकिन एक भी ऐसा मौका नहीं आया, जब मैंने किसी पर गुस्सा किया.” मोदी ने नई दिल्ली में लोक कल्याण मार्ग स्थित आवाज पर अभिनेता से कहा, “मैं सख्त हूं, लेकिन मैं दूसरों को अपमानित करने में विश्वास नहीं करता. मैं लोगों को प्रोत्साहित करता हूं. मैं उनकी मदद के लिए हाथ आगे बढ़ाता हूं.. मैं सिखाता भी हूं. मैं एक टीम बनाता हूं. मेरे अंदर गुस्सा हो सकता है, लेकिन मैं जाहिर नहीं करता.”