नई दिल्ली / लखनऊ : हमेशा शांत और तीखे सवालों पर सहजता से जवाब देने वाले सपा नेता अखिलेश यादव आज एक चैनल के कार्यक्रम में एक बात पर काफी नाराज दिखाई दिए. उन्होंने कहा, ‘मेरी गलती है कि मैंने दिल्ली से लखनऊ बुलाकर पत्रकार को कहा कि मुझे औरंगजेब लिखने के लिए तुम्हें जितने पैसे मिले, उससे दोगुना मुझसे ले लेते.. उन्होंने कहा, ‘मुझसे यही गलती हो गई मुझे भी औरंगजेब की तरह तलवार निकालनी चाहिए और उस शख्स को उसी समय खत्म कर देना चाहिए’. जब उनसे पूछा गया कि आप तो हिंसा की बात कर रहे हैं कि तो उन्होंने बोला हां उसने मुझे औरंगजेब बोल दिया. मैंने उसको कहा कि इतने पैसे के लिये मुझे औरंगजेब बोल दिया। अखिलेश ने आगे कहा कि कांग्रेस को बड़ा दिल बना कर सबसे बात करनी चाहिए और गठबंधन बनाना चाहिए. मैं कहता हूं कि कांग्रेस की जिम्मेदारी है अगर बीजेपी का सीना बड़ा है तो कांग्रेस अपना दिल तो बड़ा करे. जनता इस बार धर्म के मामले में नहीं फंसने वाली है.
जब उनसे पूछा गया कि आपका कहना है कि बीजेपी को सिर्फ क्षेत्रीय पार्टियां ही हरा सकती हैं, क्या कांग्रेस गई-गुजरी पार्टी हो गई है तो उनका जवाब था, ‘कांग्रेस गई-गुजरी पार्टी नहीं है, बल्कि अब क्षेत्रीय दलों को स्पेस देने की जरूरत है’. कांग्रेस की जिम्मेदारी है सभी दलों को साथ लेकर चले. मेरा मायवती जी से संपर्क है. देश मुद्दा समझे तो इस बार बीजेपी सत्ता से बाहर होगी.
उन्होंने कहा कि जनता में बीजेपी को लेकर गुस्सा है. यह अलग बात है कि अभी दिख नहीं रहा है. मगर बैलेट से चुनाव होगा तो जनता के गु्स्से की आवाज आएगी. अखिलेश ने मशीनों की जगह बैलेट से चुनाव कराने की मांग उठाई. यह भी कहा कि आयोग को भले निष्पक्ष कहा जाए मगर वहां अफसरों की तैनाती एक राजनीतिक व्यवस्था से होकर ही गुजरती है. अखिलेश बोले-मैं भी मुख्यमंत्री रहा हूं, इसलिए जानता हूं कि एक लिस्ट आती है, जिसमें कौन अधिकारी कहां भेजा जाना है, बताना होता है. राजनीतिक व्यवस्था से ही नियुक्तियां होती हैं.
अखिलेश यादव ने कहा कि लोग कहते हैं कि आपने गोरखपुर में हमने एक्सपेरिमेंट किया. हमने एक्सपेरिमेंट नहीं किया बल्कि जनता के गुस्से को समझा और गुस्से ने हमारी मदद की. चाहे गुस्सा अभी दिखाई न दे रहा हू. मगर बैलेट होता तो आवाज जरूर आती. अखिलेश ने कहा कि जनता इंतजार कर रही है. 50 साल नहीं अगले 50 हफ्ते में ही जनता फैसला लेगी. जनता दुखी और नाराज है. हम राजनीतिक दल जरूर एक प्लेटफॉर्म देंगे. मगर जनता अपना गुस्सा दिखाएगी. अखिलेश यादव ने कहा कि इलेक्शन कमीशन हमसे पूछता है कि आप मशीन खराब और ठीक करके दिखाइए. हम जानना चाहता है कि अगर मशीन खराब है तो इसे ठीक कैसे करते हैं. मैं तो आयोग से केवल इतनी गुजारिश करना चाहता हूं कि अगर मशीन खराब होती है तो उसमें क्या ठीक करते हैं, यह हमें बता दें. अगर बैलेट से पड़े तो लोगों का गुस्सा भी निकल जाएगा और विश्वास पर भी कामय होगा. आयोग में जो लोग पहुंचते हैं, बिना राजनीतिक अप्रोच के लोग नहीं पहुंचते हैं.