मुंबई। लगातार भारी बारिश के बाद जनजीवन के अस्त-व्यस्त हो जाने, सड़क, रेल एवं वायु यातायात अवरूद्ध हो जाने के बाद परेशानियों से भरे अगले दिन के लिए मुंबई तैयार है। अलबत्ता, रात में बारिश का जोर कुछ घटने से आज थोड़ी राहत मिलने की उम्मीद है। महानगर में फिर से भारी बारिश के संकेतों के बीच प्रशासन ने स्कूलों और कॉलेजों को बंद रखे जाने के निर्देश दिए हैं। शहर और इसके उपनगरों में आज वस्तुत: एक तरह से सार्वजनिक अवकाश है। मुंबई में आज डब्बा वाले भी काम नहीं कर पाएंगे क्योंकि उन्होंने कल जहां जहां खाना भेजा था वहां से टिफिन वापिस नहीं ले पाये हैं।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने लोगों को सलाह दी है कि जब तक कोई आपात स्थिति न हो, घर से नहीं निकलें। फडणवीस ने कहा, ‘‘जरूरी सेवाओं और सरकार के अत्यंत महत्वपूर्ण कर्मी आज ड्यूटी पर रहेंगे।’’ पश्चिमी रेलवे की उपनगरीय रेल सेवाएं आधी रात के आसपास बहाल हो गईं। मध्य रेलवे की रेल सेवाओं का अभी भी पटरी पर लौटना बाकी है। सैंकड़ों लोग अब भी छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस पर फंसे हैं और अपने घर जाने का इंतजार कर रहे हैं। प्रतिदिन 65 लाख से ज्यादा यात्रियों को लाने-ले जाने वाला मुंबई का उपनगरीय ट्रेन नेटवर्क देश की इस वित्तीय राजधानी की जीवनरेखा है। इसकी सेवाएं रूक जाने से दफ्तर जाने वाले लोगों को भारी असुविधा का सामना करना पड़ा है। कल ये लोग भारी बारिश के बावजूद अपने दफ्तरों तक गए थे। मौसम विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि कल नौ घंटे में मुंबई में 298 मिमी बारिश हुई है। यह मुंबई में आम तौर पर होने वाली बारिश से नौ गुना ज्यादा है। उन्होंने कहा कि भारी बारिश आज भी जारी रह सकती है। मुंबई तक पहुंचने वाली दो अहम सड़कें यानी ईस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे और वेस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे पर कल यातायात बहुत धीमी गति से चल रहा था। धीरे-धीरे ये सड़कें सामान्य स्थिति की ओर लौट रही हैं। नौसेना के प्रवक्ता ने कहा था कि मुंबई और इसके आसपास के इलाकों में भारी बारिश के चलते नौसेना के हेलीकॉप्टरों को तैयार रखा गया है। बाढ़ बचाव दल और गोताखोर तैनाती के लिए तैयार हैं।
मूसलाधार बारिश के कारण कल मुंबई एक तरह से थम सी गई थी। शहर में 298 मिमी की भारी बारिश हुई, जो वर्ष 1997 के बाद से अगस्त माह में किसी एक दिन में हुई अधिकतम बारिश है। दो बच्चों समेत तीन लोग मुंबई में मारे गए जबकि 32 वर्षीय महिला और एक किशोरी कल ठाणे में बारिश संबंधी घटनाओं में मारी गईं।
शहर में हो रही भारी बारिश के बीच लोगों ने अपने घर और दिल अजनबी लोगों के लिए खोल दिए थे। ये लोग बारिश के कारण फंसे हुए लोगों के मदद कर रहे थे। कई दफ्तरों में कर्मचारी रात भर रूके रहे क्योंकि वे घर पहुंचने के लिए ट्रेनें या बसें नहीं पकड़ पाए थे। नगर निगम की अध्यक्षता करने वाली शिवसेना मुंबई में खराब अवसंरचना को लेकर निशाने पर आई तो आज मुंबईकरों पर ‘प्राकृतिक आपदा’ के लिए इंद्रदेव को दोषी ठहराने लगी। इसी बीच, मराठवाड़ा क्षेत्र में भारी बारिश जारी रही जबकि पास के रायगढ़ जिले की नदियां उफान पर हैं।
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