लखनऊ : तेल कंपनियों के शेयर 12 प्रतिशत तक गिरने के बाद सरकार ने बड़ा कदम उठाया है. वित्त मंत्री अरुण जेटली ने गुरुवार को पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज ड्यूटी 1.5 रुपये प्रति लीटर कम कर दी है. वहीं, तेल मार्केटिंग कंपनियां (HPCL, BPCL, IOC) 1 रुपये प्रति लीटर अपनी तरफ से कम करेंगी. इस तरह केंद्र सरकार से पेट्रोल और डीजल पर 2.50 रुपये प्रति लीटर की तत्काल राहत देंगीजेटली के इस ऐलान के बाद यूपी, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, गुजरात और त्रिपुरा जैसे बीजेपी शासित प्रदेशों की सरकार ने अतिरिक्त 2.5 रुपये प्रति लीटर टैक्स कटौती की है. इस कदम के बाद वहां पेट्रोल 5 रुपये प्रति लीटर तक सस्ता हो जाएगा. (ये भी पढ़ें- चांदी हुई 50 रुपये सस्ता, जानिए 10 ग्राम सोने की नई कीमतें)
राज्य भी घटाए वैट- वित्त मंत्री ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, ‘हम सभी राज्य सरकारों से वैट में पेट्रोल-डीज़ल पर 2.50 रुपये प्रति लीटर में कटौती करें. इस बारे में सभी राज्यों को लिखा जाएगा, जिससे की उपभोक्ताओं को तत्काल पेट्रोल-डीजल पर 5 रुपये प्रति लीटर की राहत मिल सकेसरकारी खजाने पर पड़ेगा 10500 करोड़ का असर- वित्त मंत्री ने बताया कि एक्साइज ड्यूटी में यह कटौती यदि पूरे साल बनी रहती है तो इससे 21 हजार करोड़ रुपये का असर सरकारी खजाने पर होगा. हालांकि, इस वित्त वर्ष में छह माह शेष हैं तो इसका सरकार पर 10,500 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा. यह चालू वित्त वर्ष के लिए तय राजकोषीय घाटे का 0.05 फीसदी अंतर होगा. इसे मेन्टेन करना आसान होगा. यानी, राजकोषीय घाटे के लक्ष्य पर इसका कोई असर नहीं होगा.
तेल कम्पनियों के शेयर गिरने के बाद वित्त मंत्री ने पेट्रोल-डीजल की एक्साइज ड्यूटी 1.50 रुपये प्रति लीटर कम की
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