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कैराना उपचुनाव: किसके साथ कौन? चुनाव प्रचार के अंतिम चरण में मतदाता कन्फ्यूज

लखनऊ: कैराना उपचुनाव में बड़े-बड़े उलटफेर हो रहे हैं. वोटर कन्फ्यूज है कि आखिरकार ये हो क्या रहा है, किसके साथ कौन है? गोरखपुर और फूलपुर उपचुनाव के माहौल और कैराना उपचुनाव के माहौल में काफी अंतर दिख रहा है. ये उपचुनाव सबके लिए महत्वपूर्ण है लेकिन मिशन 2019 में गठबंधन की राजनीति करने के हिसाब से विपक्ष के लिए कुछ ज्यादा ही जटिल बन गया है. आगामी लोकसभा चुनाव में पश्चिमी उत्तर प्रदेश में तालमेल इसी उपचुनाव के परिणाम पर निर्भर करेगा. यहीं कारण है कि उपचुनाव शुरू से ही बदला बदला सा दिख रहा है.

मिशन 2019 को देखते हुए राष्ट्रीय लोकदल ने जहां सपा की तब्बुसम हसन को अपना उम्मीदवार बनाकर मैदान में उतारा वहीं सपा का कोई भी दिग्गज प्रचार के लिए मैदान में नहीं उतरा और बसपा इशारों इशारों में ही समर्थन देती रही. जमीन पर सभी दल के कार्यकर्ता भले ही इकट्ठे होकर उपचुनाव लड़ रहे हों, लेकिन प्रचार की कमान अकेले राष्ट्रीय लोकदल के दिग्गजों को ही संभालनी पड़ी, जबकि गोरखपुर और फूलपुर उपचुनाव में विपक्षी एकता सामने दिख रही थी और विपक्षी दिग्गजों ने भी जनसभाएं की थी.

लोकदल प्रत्याशी को कंवर हसन को विपक्ष के साथ लाने में भी प्रमुख भूमिका रालोद ने ही निभायी. वैसे विपक्ष की मानें तो सभी साथ खड़े हैं. और कंवर हसन का विपक्ष के साथ आने से बीजेपी को झटका लगना तय है. दूसरी तरफ सत्ताधारी पार्टी बीजेपी गोरखपुर और फूलपुर के बाद कैराना में काफी सतर्क नजर आ रही है. फिर भी विपक्ष लगातार दांव फेंक रहा है और बीजेपी के लिए मुश्किलें पैदा कर रहा है.

सीएम अपने जनसभाओं में लगातार विपक्ष को निशाने पर ले रहे हैं अपने विकास के एजेंडे को सामने रख रहे हैं. पार्टी के तमाम मंत्री, विधायक,सांसद और पार्टी पदाधिकारी दिन रात एक किए हुए हैं. बीजेपी कहती है कि इस तरह के उलटफेर से कोई फर्क नहीं पड़ेगा बल्कि जनता काम पर वोट देगी. कैराना के सामाजिक समीकरण को देखते हुए पक्ष हो या विपक्ष जोड़ तोड़ में जुटा हुआ है. अंतिम लक्ष्य वोट पाना है. भले ही राजनीतिक दल कितने भी पासे फेंक ले पर पशोपेश में पड़ा वोटर कोई भी संकेत नहीं दे रहा और वो अपने पत्ते अंतिम समय में ही खोलेगा.


गौरतलब है कि कैराना उपचुनाव के लिए प्रचार के तहत गुरुवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने शामली में जनसभा को संबोधित किया. इस दौरान सीएम योगी ने रालोद के उपाध्यक्ष जयंत चौधरी के गन्ना और जिन्ना वाले बयान पर पलटवार किया. सीएम योगी ने कहा कि गन्ना किसानों के लिए हम काम करेंगे, गन्ना हमारा मुद्दा है, लेकिन हम जिन्ना की फोटो भी नहीं लगने देंगे. बता दें जयंत चौधरी ने बीजेपी पर हमला करते हुए कैराना उपचुनाव को लेकर कहा था कि यहां जिन्ना मुद्दा नहीं है, गन्ना मुद्दा है.

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