अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैन्सी पेलोसी ने कैपिटल बिल्डिंग पर हमले की जांच के लिए एक स्वतंत्र आयोग का प्रस्ताव रखा है। उनका कहना है कि जिस तरह के आयोग के जरिए 9/11 हमले की जांच हुई थी, उसी तर्ज पर छह जनवरी के हमले की जांच होनी चाहिए। अमेरिका के इतिहास में छह जनवरी को काले दिनों में से एक माना जाता है, जब पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थक इस इमारत में घुस आए थे और तोड़-फोड़ करने लगे थे। इससे सैकड़ों सांसदों की जान खतरे में पड़ गई थी।
पेलोसी ने सोमवार को अपने सहकर्मियों को भेजे गए पत्र में यह बात कही है। अमेरिकी सीनेट में दूसरे महाभियोग की कार्यवाही में पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बरी होने के 50 घंटे के भीतर पेलोसी ने यह पत्र लिखा है। ट्रंप पर भीड़ को कैपिटल बिल्डिंग पर हमला करने के लिए उकसाने के आरोप लगे थे। उन्होंने प्रतिनिधि सभा में अपने डेमोक्रेटिक सहकर्मियों को लिखे गए एक पत्र में कहा, ” सामने आए तथ्यों और महाभियोग मुकदमे से यह स्पष्ट है कि हमें यह जरूर जान लेनी चाहिए कि यह कैसे हुआ।”
पेलोसी ने पत्र में लिखा कि देश की सुरक्षा की रक्षा के लिए अगला कदम कैपिटल बिल्डिंग पर घरेलू आतंकवादी हमले की जांच के लिए 9/11 हमले की जांच के तर्ज पर ही आयोग का गठन किया जाए और तथ्यों की जांच करते हुए छह जनवरी के हमले के पीछे की वजहों का पता लगाया जाए। इसी तरह की मांग दोनों ही पार्टियों के कुछ सांसदों ने भी की है। रिपब्लिकन पार्टी के तीन सांसद- रोडनी डेविस, जॉन काटको और जेम्स कोमर ने भी एक ऐसे विधेयक का प्रस्ताव दिया, जिसके तहत द्विदलीय आयोग का गठन हो सकता है।
भारतीय-अमेरिकी सांसद राजा कृष्णमूर्ति ने एक ट्वीट में पेलोसी का समर्थन किया है और कहा है कि विस्तृत रूप में इस मामले की जांच की जरूरत है। इसे भुलाया नहीं जा सकता है। ‘नेशनल कमिशन ऑन टेररिस्ट अटैक्स अपॉन द यूनाइटेड स्टेट्स’ (अमेरिका पर आतंकवादी हमले की जांच के लिए राष्ट्रीय आयोग) को 9/11 आयोग कहा जाता है और यह 11 सितंबर को हुए आतंकवादी हमले की विस्तृत परिस्थतियों की जांच के लिए गठित हुआ था। यह भी द्विदलीय पैनल था।