बेंगलुरू: कर्नाटक में उपजे सियासी घमासान का अंत क्या होगा. एचडी कुमारस्वामी सरकार रहेगी या जाएगी. इन सब सवालों का जवाब आज हर किसी को मिल सकता है.संभावना है कि विधानसभा में चल रही विश्वास मत प्रस्ताव पर बहस आज खत्म हो सकती है, जिसके बाद मतदान होगा. ऐसे में कुमारस्वामी सरकार अपनी सरकार बचा पाएगी या नहीं, इस पर हर किसी की नजर है.
कर्नाटक विधानसभा स्पीकर के आर रमेश कुमार ने कहा कि वो सोमवार को ही फैसला सुनाएंगे. फैसला लेने में इसलिए देरी हो रही थी क्योंकि वो सुप्रीम कोर्ट के आदेश को समझ रहे थे. स्पीकर ने कहा कि आज के भाषण में आप लोग इस बात का ध्यान रखें कि विधानसभा की मर्यादा कायम रहे. इस समय सदन की कार्यवाही को बाधित करने के लिए तमाम कुचक्र इस्तेमाल हो रहा है. इससे विधानसभा, स्पीकर और विधायकों की मर्यादा तार तार हो रही है.
सत्र की शुरुआत के बाद स्पीकर रमेश कुमार ने बोलना शुरू किया, उसके बाद उन्होंने कृष्ण गौड़ा को अपनी बात कहने को कहा. लेकिन बीच में ही कांग्रेस के डीके शिवकुमार खड़े हो गए और कुछ कहने लगे. जिसपर स्पीकर नाराज गए, उन्होंने कहा कि क्या हर किसी ने आज बीच में टोकने का तय किया हुआ है. विधानसभा का सत्र शुरू हुआ. स्पीकर के रमेश कुमार ने कहा कि अगर विधायक कहते हैं कि उनपर कोई दबाव बनाया जा रहा है तो वह किसी तरह की सुरक्षा देने को तैयार हैं. फ्लोर टेस्ट के मामले में स्पीकर ने कहा है कि हमने पहले ही वादा किया था कि इस प्रक्रिया को आज पूरा करेंगे, इसलिए हम प्रक्रिया आगे बढ़ाएंगे.फ्लोर टेस्ट से पहले पूरे सियासी घटनाक्रम में एक नया मोड़ आया है. कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार का कहना है कि जेडीएस सरकार बचाने के लिए किसी भी तरह के त्याग के लिए तैयार है.
ऐसे में कांग्रेस की ओर से किसी को मुख्यमंत्री बनाने के लिए भी तैयार हैं. उन्होंने इसके बारे में हमारे हाईकमान को भी बता दिया है. ऐसे में विश्वास मत से पहले शिवकुमार का ये बयान क्या सरकार को बचा पाएगा, इसपर हर किसी की नजर है. इधर, फ्लोर टेस्ट से पहले सरकार बचाने के लिए एचडी कुमारस्वामी हर संभव कोशिश कर रहे हैं. रविवार शाम उन्होंने इसी के तहत बागी विधायक आनंद सिंह से बात की और उन्हें मनाने की कोशिश की. कुमारस्वामी ने उनसे फोन पर बात की, इतना ही नहीं उन्होंने आनंद सिंह के परिवार से उन्हें मनाने के लिए कहा.बहुमत परीक्षण से पहले कांग्रेस-जेडी(एस) और भारतीय जनता पार्टी कैंप पूरी ताकत झोंक रहे हैं. बीजेपी नेता बीएस येदियुरप्पा ने फिर से कहा कि सोमवार को गठबंधन सरकार का आखिरी दिन होगा.
उधर, मुंबई में मौजूद बागी विधायकों ने कहा, हम यहां सिर्फ गठबंधन (कांग्रेस-जेडीएस) सरकार को सबक सिखाने के लिए आए हैं. इसके अलावा कोई दूसरा मकसद नहीं है। हम यहां पैसे या किसी दूसरी चीज के लालच में नहीं आए। एक बार सबकुछ ठीक हो जाए, बेंगलुरु लौट जाएंगे। राज्य के बसपा के इकलौते विधायक एन महेश फ्लोर टेस्ट में शामिल नहीं होंगे। अगर नंबर गेम की बात करें तो बीजेपी अपने पास बहुमत होने का दावा कर रही है. बीजेपी के पास 105 विधायक अपने और दो निर्दलीयों का समर्थन होने का दावा है. तो वहीं अगर बात कांग्रेस-जेडीएस की करें तो उनके पास 100 वोट अपने और एक बसपा विधायक का वोट है. अभी ताजा आंकड़ा देखें तो अब 34, कांग्रेस 65, बसपा 1, भाजपा 105, अन्य दो 2.अगर मौजूदा गतिरोध जारी रहता है तो सरकार गिर सकती है.
बता दें कि 15 विधायक इस्तीफा दे चुके हैं और दो निर्दलीय बीजेपी को समर्थन दे चुके हैं. अगर सुप्रीम कोर्ट कांग्रेस-जेडी(एस) की व्हिप जारी करने को लेकर की गई याचिकाओं पर फैसला टाल देता है, तो विश्वास मत होने पर कुमारस्वामी सरकार गिर सकती है.सुप्रीम कोर्ट कांग्रेस-जेडी(एस) को व्हिप जारी करने की इजाजत भी दे सकती है. ऐसा हुआ तो बागी विधायक बैकफुट पर चले जाएंगे और उन्हें अपने इस्तीफे वापस लेने पड़ सकते हैं. ऐसा नहीं करने पर उनकी विधायकी खतरे में आ जाएगी. ऐसे हालात में सरकार बच सकती है. हालांकि, अगर व्हिप जारी होने के बाद भी विधायक नहीं आए तो सरकार गिर जाएगी.कोर्ट ऐसा भी कर सकता है कि सुनवाई एक-दो दिन के लिए टाल दे और स्पीकर को यथास्थिति बनाए रखने के लिए कह दे. राज्यपाल वजुभाई वाला के पास भी एक विकल्प है कि अगर कोर्ट ने कोई फैसला नहीं दिया तो वह कुमारस्वामी को बहुमत साबित करने के लिए नई तारीख दे दें.