नयी दिल्ली : कांग्रेस ने केन्द्रीय मंत्री अरुण जेटली पर देश की अर्थव्यवस्था की स्थिति की ‘‘गलत तस्वीर’’ पेश कर लोगों को गुमराह करने का आरोप लगाया और दावा किया कि सरकार के पास अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने की योजना का अभाव है। भाजपा द्वारा आठ नवंबर को ‘‘कालाधन विरोधी दिवस’’ मनाये जाने को लेकर सत्तारूढ़ दल पर प्रहार करते हुए कांग्रेस ने कहा कि इसके बजाय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को देश को ‘‘आहत’’ करने के लिए उससे माफी मांगनी चाहिए। नोटबंदी के विरोध में विपक्ष आठ नवंबर को ‘‘काला दिवस’’ मनायेगा और ऐसा प्रतीत होता है कि भाजपा ने इसके जवाब में ‘‘कालाधन विरोधी दिवस’’ मनाने का निर्णय किया है।
कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता आनंद शर्मा ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘अर्थव्यवस्था के बारे में जो कहा गया है वह सत्य नहीं है…यह कहना गलत है कि देश की अर्थव्यवस्था के मूलभूत कारक मजबूत हैं। वित्त मंत्री का भारत को दुनिया की सबसे तेजी से विकसित होने वाली अर्थव्यवस्था बताने का दावा गलत एवं तथ्यात्मक रूप से सही नहीं है।’’ शर्मा ने यह भी कहा कि मोदी सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था को आहत किया है तथा नौकरियां जाने, किसानों, व्यापारियों, मजदूर वर्ग एवं आम आदमी की मुश्किलों के कारण यह ‘‘आईसीयू में चली गयी है।’’ उन्होंने कहा कि सरकार को अब अर्थव्यवस्था के ‘‘बुरे हालात’’ के बारे में महसूस हुआ है।
स्थिति से अवगत होने के बाद उसने वित्तीय पैकज की घोषणा की। शर्मा ने कहा, ‘‘वित्त मंत्री को ऐसी बात नहीं कहनी चाहिए जिससे अंतरराष्ट्रीय एजेंसियां स्तब्ध हो जाएं। चीन की अर्थव्यवस्था भारत से बड़ी है। इसलिए भारत के वित्त मंत्री को अपने उन शब्दों को सोच विचार कर बोलना चाहिए जिनसे दुनिया को चुनौती मिलती हो।’’ नोटबंदी एवं जीएसटी के कारण प्रभावित अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन देने के लिए जेटली ने कल 6.92 लाख करोड़ रूपये आधारभूत व्यय तथा बैंक में पुन:पूंजीकरण के लिए 2.11 लाख करोड़ रूपये की घोषणा की ताकि निवेश एवं विकास को बल मिल सके।