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प्याज के बाद अब टमाटर की कीमतों में उछाल, ये है दाम बढ़ने की वजह?

सरकार द्वारा जमाखोरों पर सख्त कदम और निर्यात को रोकने जैसे फैसलों से प्याज की कीमतों में कमी आने लगी है। इसकी थोक कीमत 30 रुपये हो गई है। हालांकि अब प्याज के बाद टमाटर की कीमतों में बढ़ोतरी होने से लोग इसका प्रयोग कम करने लगे हैं। फिलहाल देश भर में इसकी कीमत 80 रुपये प्रति किलो के पार चली गई है। सप्ताह भर पहले टमाटर 40 रुपये प्रति किलो बिक रहा था। 15 दिन पहले इसकी फुटकर कीमत 20 से 30 रुपये प्रति किलो थी। फिलहाल आवक कम होने से टमाटर की कीमतों में सबसे ज्यादा उछाल देखने को मिला है। नवरात्रों के चलते जहां प्याज की मांग कम हुई है, वहीं टमाटर की खपत बढ़ गई है। दिवाली तक इसकी कीमतों में किसी तरह की राहत मिलने की उम्मीद नहीं है।  टमाटर की पैदावार मुख्यतः उत्तरी राज्यों के अलावा महाराष्ट्र और कर्नाटक में होती है। इन राज्यों में बाढ़ और बारिश से फसल चौपट हो गई है। इसके चलते दिल्ली समेत देश के कई शहरों में इसकी कीमतों में भी बढ़ोतरी देखने को मिल रही है। थोक मंडियों में कम आवक के चलते कीमतों में उछाल देखने को मिल रहा है। देश की सबसे अजादपुर सब्जी मंडी में टमाटर का थोक भाव 46 रुपये प्रति किलो पहुंच गया है। बारिश के कारण टमाटर सड़ रहा है, इसलिए दाम बढ़े हैं। आजादपुर मंडी में शुक्रवार को टमाटर का थोक भाव 700-1,000 रुपये प्रति पैकेट (एक पैकेट में 25 किलो) था।

बीते 25 सितंबर को आजादपुर, एपीएमसी की कीमत सूची के अनुसार, टमाटर का थोक भाव आठ रुपये से लेकर 34 रुपये प्रति किलो था और आवक 560.3 टन थी। जबकि एक सप्ताह पहले 19 सितंबर को दिल्ली में एपीएमसी के रेट के अनुसार, टमाटर का थोक भाव 4.50-20 रुपये प्रति किलो था, जबकि आवक 1,700 टन थी। दिल्ली में इस समय टमाटर महाराष्ट्र, कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश से आ रहा है। किसी भी तरह की तरीदार सब्जी बनाने या फिर दाल में तड़का लगाने के लिए टमाटर-प्याज की जरूरत पड़ती है। बिना इनके सब्जी या फिर दाल में स्वाद नहीं आता है। ऐसे में लोग इन पर पूरी तरह से निर्भर रहते हैं।

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